छत्तीसगढ़ राज्य की खाद्य सुरक्षा योजना की उपलब्धियों एवं संभावनाओं का एक अध्ययन

Authors

  • राकेश कुमार गु डॉ प्रतिमा वेस

Abstract

छत्तीसगढ़ राज्य के गठन के बाद इसका सर्वांगीण क्षेत्रों में विकास हो रहा है। छत्तीसगढ़ 18 वें वर्ष अर्थात् अपनी तरुणाई अवस्था में प्रवेश कर चुका है। छत्तीसगढ़ के प्रारंभिक कुछ वर्षाें के पश्चात् से यहाँ राजनैतिक स्थिरता ने इसके विकास के गति को द्रुत कर दिया है। छत्तीसगढ़ राज्य की अर्थव्यवस्था में कृषि के महत्व को देखते हुए इस राज्य में योजनागत प्रयास किये गये जिनमें सिंचाई सुविधाओं का विस्तार, उर्वरकों का उपयोग बढ़ाने हेतु उसकी आपूर्ति में वृद्धि, किसानों को साथ एवं विपणन सुविधायें, फसल बीमा योजना, ग्रामीण क्षेत्र में आधारभूत संरचना सुविधाओं में वृद्धि आदि से कृषि उत्पादन में वृद्धि हुई और इसका लाभ छत्तीसगढ़ के किसानों को मिला है। छत्तीसगढ़ राज्य को धान के रिकॉर्ड उत्पादन के लिए वर्ष 2010 एवं 2012 में भारत सरकार द्वारा कृषि कर्मण पुरस्कार से सम्मानित किया गया पिछले 10 वर्षों में कृषि उत्पादकता में वृद्धि होने के कारण गेहूँ के उत्पादन में 25 प्रतिशत एवं चना व मक्का के उत्पादन में 32 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। छत्तीसगढ़ सरकार ने गन्ना एवं सोयाबीन को लोकप्रिय बनाने के लिए सतत् प्रयास किया है। जिसके कारण इनके क्षेत्रफल में वृद्धि हुई तथा गन्ना का उत्पादन 2.4 गुना तथा सोयाबीन का उत्पादन 3.7 गुना बढ़ गया है। छत्तीसगढ़ में उद्यानिकी फसलों का क्षेत्रफल 92,176 हेक्टेयर से बढ़कर 7,25,029 हेक्टेयर हो गया है।

Published

2022-04-30

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Articles